
दिल्ली, नोएडा और गाजियाबाद में यमुना नदी के खतरे के निशान के करीब पहुंचने के कारण बाढ़ का अलर्ट जारी किया गया है. हरियाणा के हथिनीकुंड बैराज से 3.29 लाख क्यूसेक पानी छोड़े जाने के बाद दिल्ली सरकार ने सतर्कता बढ़ा दी है. हथिनीकुंड बैराज से छोड़ा गया पानी कल शाम 5:00 बजे से 8:00 तक दिल्ली पहुंचेगा, जिससे यमुना नदी का जलस्तर 206 मीटर तक पहुंचने की उम्मीद है. बढ़ते जलस्तर को देखते हुए ओल्ड यमुना ब्रिज पर ट्रैफिक रोकने का आदेश जारी किया गया है.
दिल्ली की मुख्यमंत्री रेखा गुप्ता ने स्थिति पर आश्वासन देते हुए कहा कि सरकार पूरी तरह तैयार है और बाढ़ का पानी यमुना के फ्लड प्लेन तक ही सीमित रहेगा. मुख्यमंत्री ने कहा, ‘पिछले छह महीनों में नालों युद्धस्तर पर सफाई हुई है, जिसके कारण सभी ब्लॉकेज खुल गए हैं. आज बैराज के सभी गेट खुले हैं और पानी का प्रवाह सुचारू है. 3 लाख क्यूसेक पानी छोड़ा गया है, जिससे यमुना का जलस्तर 207 मीटर या उससे थोड़ा अधिक हो सकता है. आम आदमी पार्टी की सरकार के दौरान 2023 में यमुना का जलस्तर 208.66 मीटर तक पहुंचा था, जिससे भारी बाढ़ आई थी.
मुख्यमंत्री ने स्पष्ट किया कि यमुना के बाढ़ क्षेत्रों में बस्तियां बस जाने के कारण वहां रहने वाले लोगों को परेशानी हो सकती है, लेकिन पानी बाढ़ क्षेत्रों से बाहर मुख्य सड़कों तक नहीं पहुंचेगा. उन्होंने दिल्लीवासियों को आश्वस्त करते हुए कहा, ‘हम हर घंटे स्थिति की निगरानी कर रहे हैं. वर्तमान में यमुना का जलस्तर 205.6 मीटर है. हमारी टीमें पूरी तरह सतर्क हैं.’ दिल्ली के सिंचाई और बाढ़ नियंत्रण विभाग के अनुसार, हथिनीकुंड बैराज से छोड़ा गया पानी 48 से 50 घंटों में दिल्ली पहुंचता है. विभाग ने निचले इलाकों में रहने वाले लोगों को सुरक्षित स्थानों पर जाने की सलाह दी है. वजीराबाद बैराज से 38,900 क्यूसेक पानी छोड़ा गया है, और यमुना का जलस्तर मंगलवार शाम तक 206 मीटर के निकट पहुंच सकता है, जो निकासी का स्तर है. सीएम रेखा गुप्ता ने बताया कि इस साल बाढ़ की तैयारियां पहले से मजबूत हैं. नालों की सफाई, पंप हाउसों का निरीक्षण, और मोबाइल पंपों की तैनाती की गई है. उन्होंने कहा, ‘2023 की बाढ़ से सबक लेते हुए हमने इस बार पहले से तैयारी शुरू कर दी थी.’